अब गुजरात में 10 रूपये में मजदूरों को मिलेगा भरपेट भोजन
अहमदाबाद। गुजरात की रुपाणी सरकार ने भी अन्नपूर्णा योजना की शुरुआत की है। इसके तहत श्रमिकों को 10 रुपये में भरपेट भोजन मिलेगा। मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने निर्माण क्षेत्र-असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों को सिर्फ दस रुपए में भरपेट भोजन मुहैया कराने वाली श्रमिक अन्नपूर्णा योजना का मंगलवार को अहमदाबाद में राज्यव्यापी शुभारंभ करते हुए साफ किया कि यह सरकार अमीरों और उद्योगपतियों की नहीं बल्कि गरीब, श्रमिक और वंचितों की सरकार है।
उन्होंने कहा कि जो श्रमिक देश के विकास के लिए दिन-रात पुरुषार्थ करते हैं, उन श्रमिकों के श्रम को प्रतिष्ठित बनाने के लिए राज्य सरकार ने अनेक कल्याणकारी योजनाएं कार्यान्वित की हैं।
रूपाणी ने कहा कि श्रमिकों के योगदान के चलते देश में अनेक महाकाय परियोजनाओं ने आकार लिया है, बावजूद इसके उनकी संवेदनाओं की दरकार ६०-६५ वर्ष तक शासन करने वालों ने कभी नहीं की। श्रमिक बगैर कुछ गलत किए अपने परिश्रम से आगे बढ़ता है, परिवार की फिक्र करने वाला ऐसा श्रमिक निश्चिंत होकर अपनी भूख शांत कर सके, इसके लिए राज्य सरकार ने श्रमिक अन्नपूर्णा योजना क्रियान्वित की है। उन्होंने कहा कि ‘श्रमिक सुखी तो देश सुखी’ मंत्र के साथ राज्य सरकार आगे बढ़ रही है।
इस संदर्भ में उन्होंने कहा कि राज्य की प्रत्येक कल्याण योजना के केन्द्र में गरीब रहा है। हम पंडित दीनदयाल उपाध्याय के ‘हर हाथ को काम’ मंत्र को लेकर चल रहे हैं। ‘अयोध्या में राम, महंगाई पर लगाम, गरीबों को काम और किसानों को सही दाम’ के शासन मंत्र से सरकार ने राम राज्य की संकल्पना को साकार करने का संकल्प किया है।
मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर नानाजी देशमुख आवास योजना के तहत १.६० लाख रुपए की सहायता के चेक तीन लाभार्थियों को वितरित किए। रूपाणी ने कहा कि यह योजना राज्य सरकार की दया या उपकार भाव नहीं है परन्तु सुबह से शाम तक पेट की ज्वाला शांत करने को कंस्ट्रक्शन साइट पर काम करने वाले श्रमिकों एवं उनके परिवारों को पौष्टिक आहार देने का संवेदनशील मानवीय दृष्टिकोण है। उन्होंने ऐसे गरीब, पिछड़ों और जरूरतमंदों की भूख गरम भोजन से शांत करने वाली इस श्रमिक अन्नपूर्णा योजना के शुभारंभ का सौभाग्य उन्हें मिलने पर कृतज्ञता व्यक्त की।
उन्होंने कहा कि हमारे लिए श्रमिकों का श्रम और पसीना पारसमणी के समान है। उनके विकास के साथ गरीब, वंचित, पीड़ित और शोषितों के कल्याणभाव को शासन मंत्र बनाया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हरेक को मकान और रोटी दोनों मिल सके, इसके लिए सरकार नानाजी देशमुख आवास योजना और प्रधानमंत्री-मुख्यमंत्री आवास योजना के जरिए आवास मुहैया करा रही है।
रूपाणी ने कहा कि गरीब, वंचित और श्रमिकों को लीवर, किडनी और दिमागी बीमारी जैसे गंभीरतम रोगों के उपचार के लिए सरकार दो लाख रुपए की सहायता देती है। इसके अलावा, गरीबों को सस्ती दर पर जेनेरिक दवाइयां उपलब्ध कराने के लिए दीनदयाल जन औषधि स्टोर्स शुरू किए हैं।
उन्होंने कहा कि गरीब, वंचित, श्रमिक और शोषितों को किसी का मोहताज न रहना पड़े, इसके लिए रोजगार के अवसर उपलब्ध कराए हैं। युवा पीढ़ी को भी सरकारी सेवा से जुड़ने का अवसर सरकारी नौकरियों में ७२ हजार युवाओं की भर्ती से दिया है। नारी शक्ति को भी स्वावलंबन के लिए महिला रोजगार मेले के माध्यम से उद्योग-व्यवसाय में रोजगार मुहैया कराने के आयोजन की जानकारी उन्होंने दी।
मुख्यमंत्री ने उज्जवला योजना के अंतर्गत माता-बहनों को गैस किट वितरण की कल्याण योजना का लाभ लेने का अनुरोध किया। युवाओं को नशे की बर्बादी से बचाने को सख्त नशाबंदी कानून और जीवदया को प्रेरित करने वाला गोवंश हत्या प्रतिबंध कानून लाने की जानकारी भी उन्होंने दी। श्रम एवं रोजगार मंत्री दिलीप भाई ठाकोर ने कहा कि राज्य में ३९ तरह के कार्य करने वाले २५,००० से अधिक श्रमिकों को १० रुपए में पौष्टिक एवं सात्विक भोजन देने का यह पायलट प्रोजेक्ट है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने श्रमिकों की रोटी और मकान की चिंता की है। इसलिए ही आवास योजनाओं के जरिए गरीबों को आवास दिया है और अब कोई भी गरीब श्रमिक भूखा न सोए इसकी चिंता की है।
विधि राज्य मंत्री प्रदीपसिंह जाडेजा ने कहा कि मजदूर की व्यथा को व्यवस्था में कैसे परिवर्तित किया जा सकता है, उस विचार बीज से आज हजारों लोगों को सात्विक भोजन मुहैया कराने वाली श्रमिक अन्नपुर्णा योजना जैसी कल्याण योजना को राज्य सरकार ने अमलीकृत किया है। उन्होंने कहा कि शराबबंदी के चलते श्रमिक के घर में शांति का माहौल है।
मकान निर्माण एवं श्रमिक कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष डॉ. अनिलभाई पटेल ने जानकारी दी कि वर्ष २०१४ में ४७ हजार श्रमिक बोर्ड में पंजीकृत थे। लेकिन बोर्ड की दो वर्ष की मुहिम के चलते आज ५,६३,००० श्रमिकों का पंजीयन हुआ है। बोर्ड द्वारा श्रमिकों को यू-विन कार्ड जैसे अनेक लाभ प्रदान कर श्रमिक की शक्ति को राष्ट्र की शक्ति बनाया है।
इस अवसर पर परिवहन राज्य मंत्री वल्लभभाई काकड़िया, महापौर गौतमभाई शाह, विधायक राकेशभाई शाह, अरविंदभाई पटेल, श्रम एवं रोजगार विभाग के प्रधान सचिव डॉ. राजीव कुमार गुप्ता, कलक्टर श्रीमती अवंतिका सिंह, अधिकारी, कर्मचारी सहित बड़ी संख्या में श्रमयोगी भाई-बहन मौजूद थे।
मकान निर्माण एवं श्रमिक कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष डॉ. अनिलभाई पटेल ने जानकारी दी कि वर्ष २०१४ में ४७ हजार श्रमिक बोर्ड में पंजीकृत थे। लेकिन बोर्ड की दो वर्ष की मुहिम के चलते आज ५,६३,००० श्रमिकों का पंजीयन हुआ है। बोर्ड द्वारा श्रमिकों को यू-विन कार्ड जैसे अनेक लाभ प्रदान कर श्रमिक की शक्ति को राष्ट्र की शक्ति बनाया है।
इस अवसर पर परिवहन राज्य मंत्री वल्लभभाई काकड़िया, महापौर गौतमभाई शाह, विधायक राकेशभाई शाह, अरविंदभाई पटेल, श्रम एवं रोजगार विभाग के प्रधान सचिव डॉ. राजीव कुमार गुप्ता, कलक्टर श्रीमती अवंतिका सिंह, अधिकारी, कर्मचारी सहित बड़ी संख्या में श्रमयोगी भाई-बहन मौजूद थे।
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